उतरबिहार को बाढ सुखाड से मुक्ति हेतू जलप्रबंधन तथा तटबंधो से मुक्ति सहित किसानों के अन्य मांगो को लेकर किसान महापंचायत ।
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संयुक्त किसान संघर्ष मोर्चा सीतामढी के 19वे स्थापना दिवस पर अखिल भारतीय किसान संघर्ष समन्वय समिति के तत्वावधान में 1सितम्बर को राधाकृष्ण गोयनका कालेज के सभागार मे आयोजित 'किसान महापंचायत 'मे बाढ-सुखाड़ के स्थायी समाधान हेतू उतर बिहार की नदियों का जल प्रबंधन,नये तटबंधों के निर्माण पर रोक तथा बागमती अधवारा समूह समेत पुराने तटबंधों की उचाई घटाने,स्वामीनाथन आयोग की अनुशंसा के आलोक मे सभी कृषि उत्पादों तथा गन्ना का ड्योढा मूल्य तय करने,रीगा चीनी मिलके जिम्मे किसानों के गन्ना मूल्य के बकाये सबा अरब रूपये का भुगतान कराने तथा लिमिट की राशि बैंको को भुगतान कराकर किसानों के खाता को एनपीए से बचाने, सभी बाढ पीडितो को सहाय्य राशि तथा इनपुट तथा फसल छति का भुगतान कराने,रून्नीसैदपुर -वेलसण्ड के जलजमाव की पूरी अवधि तथा जल निकासी मे किसानों की अधिगृहित जमीन के मुआवजा का भुगतान करने के सवाल पर 25 सितम्बर को समाहरणालय पर किसानों का धरना प्रदर्शन करने का निर्णय लिया गया । अध्यक्षता संयुक्त किसान संघर्ष मोर्चा सीतामढी के जिला अध्यक्ष रामतपन सिंह ने की।विषय प्रवेश कराते हुए मोर्चा के संरक्षक डा आनन्द किशोर ने कहा सीतामढी का खेतीहर प्राकृतिक तथा सरकारी दोनोआपदाओ को झेलते हुए सूबे मे सबसे ज्यादा संकटग्रस्त है ।डा किशोर के 14सूत्री प्रस्ताव तथा संघर्ष के आह्वान का उपस्थित किसानों ने पूरा समर्थन किया।महासचिव आफताब अंजुम ने संघर्ष के कार्यक्रम का प्रस्ताव पेश किया । इस मौके पर मुख्य अतिथि जलविशेषज्ञ तथा गंगा बाढ मुक्ति आन्दोलन के संस्थापक अध्यक्ष अनिल प्रकाश ने तटबंधों को अनुपयोगी बताते हुए कहा कि अमेरिका सहित दुनिया के कई देशो मे तटबंध तोड़े जा रहे है अगर तटबंध को उंचा किया गया तो दस गुणी तबाही बढेगी।हमे नये तटबंध निर्माण तथा उंचा करने का पुरजोर विरोध करना होगा तभी हम नदियों का उपजाऊ मीट्टी तथा जल पा सकेगे।उन्होंने कहा नदी जोड़ तथा डैम की बात बहुत बडा धोखा है।सर्वोदय के राष्ट्रीय नेता तथा समाजसेवी अशोक भारत ने कहा कि खेती को कारपोरेट के हवाले करने तथा नदी जल को अमृतसर से कलकत्ता औधोगिक कॉरिडोर को देने की साजिश है।
इतिहासकार तथा पुरातत्ववेत्ता रामशरण अग्रवाल ने किसान-मजदूरो के लिए दसवर्षीय योजना बनाने के साथ कहा कि सरकार के चिंतन मे जलप्रबंधनपर नही है।उन्होंने जलसंरक्षण को अपनाने पर जोरदिया।
इस मौके पर पारित 14सूत्री प्रस्ताव तथा उतर बिहार की बाढ से मुक्ति हेतू पारित आधार पत्र केन्द्र तथा राज्य सरकार को भेजा जायगा।
मौके पर मोर्चा के उपाध्यक्ष चन्देश्वर नारायण सिंह, नगरपरिषदके पूर्व अध्यक्ष मनोज कुमार ,नवल किशोर राउत, चन्द्रजीत यादव, प्रो दिगम्बर ठाकुर, जलंधर यदुबंशी , जय किसान आन्दोलन के मुकेश कुमार मिश्र ,संजय कुमार मो ग़यासुद्दीन , दिनेशचन्द्र द्विवेदी, तराकात झा, पूर्व प्राचार्य ब्रजमोहन मंडल , शंकरमंडल , अशोक निराला, पारसनाथ सिह लाल बाबू मिश्र, पंकज कुमार, नन्दकिशोर मंडल ,रामवृछमंडल, सरोज कुमार सिह, सहित अन्य किसान नेताओ ने संवोधित किया तथा संघर्ष तेज करने का संकल्प व्यक्त किया।
उत्तर बिहार को बाढ़-सुखाड़ से मुक्ति के लिए किसान महापंचायत